Rajesh Kamboj

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मुहम्मद गोरी का कोई पुत्र नहीं था, लेकिन जब कभी उससे पुत्र की बात की जाती तो वह कहा करता था कि, ‘‘क्या तुर्क गुलामों के रूप में मेरे हजारों पुत्र नहीं हैं?’’ उसका कथन सत्य था, क्योंकि उसके दासों ने पुत्रवत् ही उसका नाम एवं यश बढ़ाया।
PRACHIN EVAM MADHYAKALEEN BHARAT KA ITIHAS (Hindi Edition)
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