आपके जैसा तांत्रिक, यांत्रिक नहीं हूँ, लेकिन मांत्रिक जरूर हूँ। इसलिए आपको प्रसिद्धि का नहीं, सिद्धि का मंत्र बताता हूँ। आम होना ही खास होने की प्रक्रिया है महाराज। यदि आप खास होना चाहते हैं तो स्वयं को आम बना लीजिए। आम को आम होना आता है, इसलिए उसे ‘फलों का राजा’ कहा जाता है।”