Kindle Notes & Highlights
वह सबसे अच्छा समय था; वह सबसे खराब समय था।’’
आजकल समाज में तमाम नैतिक मूल्यों का भी हनन हो रहा है। धन ही सबकुछ है। और सारी उपलब्धियों का अंत भी यह है कि किसके पास कितना धन है।
सस्ते एवं चालू साहित्य ने अच्छे और ज्ञानदायी साहित्य का स्थान ले लिया है। हलका साहित्य ही उन युवाओं का प्रिय हो गया है, जिन्हें अब भी कुछ पढ़ने में दिलचस्पी है।
बजाय इसके कि हम अपना समय उन चीजों पर नष्ट करें, जिन पर हमारा कोई वश नहीं, हमें उन चीजों पर अपना ध्यान लगाना चाहिए या फोकस करना चाहिए, जिन्हें हम कंट्रोल कर सकते हैं।
आप तब तक सफल नहीं हो सकते जब तक कि आप सफलता की अपनी परिभाषा के बारे में स्पष्ट नहीं हैं।
हमारी जो अपेक्षाएँ हैं, उसका कोई आधार होना चाहिए। आप आइंस्टाइन नहीं बन सकते, यदि आपको 2 और 2 जोड़ना भी नहीं आता।
सफलता एक वेक्टर होती है, क्योंकि आप कितनी भी मेहनत क्यों न करें, आपको सफलता तभी मिलेगी जब आपकी दिशा निर्धारित होगी।
आपको शब्द-भंडार में से ‘यदि’ शब्द हटकर ‘जब’ हो जाना चाहिए।
‘यदि मैं’ को ‘जब’ से स्थानापन्न करना आसान नहीं है।
शुरुआत में ऊपर चढ़ना बहुत कठिन होता है, क्योंकि नीचे तमाम लोग ऊपर चढ़ने के लिए कोशिश कर रहे हैं और हो-हल्ला मचा रहे हैं। पर यदि आपने शुरू की तीन-चार सीढ़ियाँ किसी तरह चढ़ ली हैं तो फिर आगे की चढ़ाई थोड़ी आसान हो जाती है।
किसी की कमजोर पारिवारिक पृष्ठभूमि उसकी असफलता का कारण नहीं बन सकती, जैसे कि अच्छी पारिवारिक पृष्ठभूमि सफलता की गारंटी नहीं है।
हो सकता है कि आपकी समस्या मेरी समस्या से कहीं बड़ी हो! पर इसमें केवल डिग्री का फर्क होता है। वास्तविकता यह है कि समस्या हमेशा समस्या होती है।
आप जिन सुविधाओं का लाभ उठा रहे हैं, उनका कोई दाम अदा कर रहा है। उस पर अभी भी धन व्यय हो रहा है। इस बात केवल यह अर्थ है कि आप यह पैसे नहीं खर्च कर रहे हैं।
1 घंटे का काम 8 घंटे में करना और कुछ नहीं, समय की बरबादी है।
एक ऐसा मित्र, जो अपनी खुशी के लिए आपका वक्त बरबाद करना चाहता है, वह सच्चा मित्र हो ही नहीं सकता।
यह सच है कि आपके इस नजरिए से आपके कई तथाकथित मित्र आपके रास्ते से जल्दी ही ‘विदा’ हो जाएँगे। उनके लिए दुःख मनाने के बजाय आपको शुक्रगुजार होना चाहिए।
कोई व्यक्ति जिसके बहुत सारे दोस्त हैं, उसका कोई भी दोस्त नहीं होता है।’’
यदि आप सफल व्यक्ति बनना चाहते हैं तो कुछ चुने हुए पर गुणी दोस्त, जिन्हें आपके लक्ष्य और आपकी सीमाओं का पता हो और जो आपके साथ-साथ आपके समय की कद्र करना जानते हों, उन्हें चुनिए, न कि उन तमाम लोगों को, जो कि स्वार्थी हैं। अपनी खुशी और हितों का तो उन्हें हमेशा ध्यान रहता है, पर आपकी सफलता, लक्ष्यों और खुशी की उन्हें धेले भर भी परवाह नहीं।
आदमी की पहचान इस बात से होती है कि वह कैसी संगति में रहता है।
जिसने आपका दिल दुखाया है वह आपको उन्नति करते नहीं देख सकता। जीवन में आपकी उन्नति या उत्थान उसके मुँह पर सबसे बड़ा तमाचा होगा। यदि आपने अपने क्रोध या निराशा को काट नहीं दिया और उन्हें अपना कैरियर नष्ट करने दिया तो वह उस बेईमान आदमी की जीत होगी। जिस क्षण आप अपने क्रोध को अपनी बुद्धि को नष्ट करने देते हैं, आप उस स्त्री/पुरुष को अपने ऊपर जीतने का मौका दे देते हैं।

