More on this book
Community
Kindle Notes & Highlights
वे जानते हैं कि वे ब्रह्मांड का केंद्रबिंदु हैं। वे अपनी मनपसंद चीज माँगने से डरते नहीं हैं। वे अपनी भावनाओं को खुलकर अभिव्यक्त करते हैं। आपको
पता है जब कोई शिशु क्रोधित होता है तो वास्तव में पूरे पड़ोस को पता चल जाता है। आप समझ जाते हैं, जब शिशु खुश होते हैं, क्योंकि उनकी मुसकराहट कमरे में उजाला कर देती है। वे प्रेम से ओत-प्रोत होते हैं। नन्हे शिशुओं को यदि प्रेम न मिले तो वे जीवित नहीं रह सकते।
जब हम अपने आपसे प्रेम और स्वयं को स्वीकार करते हैं तो हमारे शरीर से आश्चर्यजनक रूप से वजन कम होता है।
हम अपनी सारी ऊर्जा सारी समस्याओं की जड़ ‘अपने आपको प्यार न करना’ के समाधान में लगा सकते हैं।
‘समझना’ हमें उस समस्या से ऊपर उठने और अपने भविष्य को नियंत्रित करने में मदद करती है।
वो आपको उतना ही सिखा सकते थे, जितना उन्हें सिखाया गया था।
आपकी अपनी आजादी के लिए इस ज्ञान की जरूरत है। आप जब तक उन्हें मुक्त नहीं करते, तब तक आप खुद को मुक्त नहीं कर सकते। आप तब तक अपने आपको माफ नहीं कर सकते, जब तक आप उन्हें माफ न करें।
आपको अपने नकारात्मक विचारों पर काबू पाना है और मुझे अपने नकारात्मक विचारों पर काबू पाना है।
मैं जो भी विश्वास करना चाहती हूँ, वह मेरे लिए सच हो जाता है। आप जो भी विश्वास करना चाहते हैं, वह आपके लिए सच हो जाता है। हमारे विचार पूरी तरह भिन्न हो सकते हैं। हमारे जीवन और अनुभव पूरी तरह भिन्न हैं।
जब तक कि कोई आपको बाहरी अनुभवों और अंदरूनी विचारों के बीच का संबंध न दिखाए, तब तक जीवन में आप पीडि़त बने रहेंगे।
ये सभी समस्याएँ, जिनसे हम अपने जीवन में जूझ रहे हैं। हम चाहे कितनी भी कठिन समस्या के साथ जूझ रहे हों, वह केवल एक
अंदरूनी विचार प्रारूप का एक बाहरी परिणाम है।
अपने जीवन की समस्याओं पर नजर डालें। अपने आपसे पूछें, ‘मेरे कौन से विचार इन्हें जन्म दे रहे हैं?’ यदि आप चुपचाप बैठकर अपने आपसे यह प्रश्न पूछें तो आपकी आंतरिक बुद्धि आपको इसका उत्तर दे देगी।