अमीर लोग दूर की सोचते हैं। वे आज के आनंद पर होने वाले ख़र्च में कटौती करके उसका निवेश कल की स्वतंत्रता में करते हैं। ग़रीब लोग पास की सोचते हैं। वे अपनी ज़िंदगी तात्कालिक संतुष्टि के लिए जीते हैं। ग़रीब लोग यह बहाना बनाते हैं, "जब आज ही ज़िंदा रहना मुश्किल है, तो मैं कल के बारे में कैसे सोच सकता हूँ?" समस्या यह है कि अंतत: कल आज में बदल जाता है। अगर आपने आज की समस्याओं की परवाह नहीं की है, तो आप यही बात कल भी दोहराएंगे। अपनी