Nancy Pandey

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तभी निरंजन बोला– ‘‘तुम जानते हो मूँछें नहीं हैं! लोग कहते हैं कि मूँछें हैं। फिर मेरे जैसे कुछ और लोग तुम्हारी तरफ हो जाएँगे और तुम्हारे साथ कहेंगे कि मूँछें नहीं हैं जबकि लोग ‘मूँछें हैं’ का बयान देकर ‘तुम ठीक नहीं हो ’ सिद्ध कर देंगे और तुम यहीं पड़े रहोगे। इसमें मूँछें हैं कि नहीं हैं, हिंसा है। तुम देख लो।’’
ठीक तुम्हारे पीछे [Theek Tumhare Peechhe]
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