‘रामकृष्ण का धर्म क्या है? वैसे तो वह पारंपरिक हिंदूवाद है, मगर थोड़ा भिन्न तरह का हिंदूवाद। इसलिए भी कि रामकृष्ण किसी एक हिंदू देवता या देवी की उपासना नहीं करते। वे न तो शैव हैं, न शाक्त, न वैष्णव, न वेदांती—फिर भी वे सभी हैं, एक साथ। वे शिव की पूजा भी करते हैं और काली की भी, राम की भी और कृष्ण की भी, फिर भी वे वेदांत दर्शन के हक में रहते हैं। इस सबके बावजूद वे निराकार, अनंत और नित्य ईश्वर को मानते हैं, जिसे वे अखंड सच्चिदानंद कहते हैं।’

